रिपोर्ट ललित जोशी छायाकार धर्मा चन्देल।
नैनीताल । सरोवर नगरी नैनीताल में राज्य अनुसूचित जाति आयोग के उपाध्यक्ष पी सी गोरखा की अध्यक्षता में आयोग में जमीन, जातिय उत्पीड़न, अपराधिक प्रकरण, छात्रवृत्ति, मारपीट, धोखाधाड़ी, व अनुसूचित जाति आरक्षण रोस्टर के अवनुसार पद नियुक्ति के 53 मामलों पर दो दिवसीय जन सुनवाई की गयी जिसमें नैनीताल, चम्पावत, पिथौरागढ़, बागेश्वर जनपदों से आये शिकायत कर्ता और विभागीय अधिकारी मौजूद रहे, और विभिन्न मामलो के त्वरित निस्तारण किया गया ।
उपाध्यक्ष पी सी गोरखा ने कहा जो अधिकारी आयोग के आदेशों का पालन नहीं करेंगे उनके खिलाफ संवैधानिक करवाही की जायेगी।भारत सरकार ने अनुसूचित जाति के गरीब असहाय व्यक्तियों के हितो के लिए आयोग का गठन किया हैं इस लिए आयोग का संवैधानिक कर्तव्य है की अनुसूचित जाति के समाज के हितों की रक्षा करें। इसी क्रम में कहा गरीब व्यक्तियों को सुनवाही के लिए देहरादून जाना पड़ता हैं जो पिथौरागढ़,चंपावत व अन्य जनपदों के लिए काफी दूर होने से गरीब व्यक्ति सुनवाई में नहीं पहुंच पाते, सुनवाई नैनीताल में रखने पर लोगों के समय और धन की बचत होती हैं। और कहा आयोग का लक्ष्य है की उत्तराखंड के हर जनपद में जाकर सुनवाई की जायेगी।